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धार्मिक संपत्तियों पर कब्जे की दृष्टि रखने वाले संत नहीं -महंत अमनदीप सिंह

हरिद्वार, 4 दिसम्बर। श्री पंचायती अखाड़ा निर्मल की एक्कड़़ कला शाखा के महंत अमनदीप सिंह महाराज ने एक अखाड़े के श्रीमहंत पर कश्मीर सिंह भूरीवाले गुट का दुष्प्रचार करने का आरोप लगाया है। प्रेस को जारी बयान में महंत अमनदीप सिंह महाराज ने कहा कि श्री पंचायती अखाड़ा निर्मल के अध्यक्ष श्रीमहंत ज्ञानदेव सिंह महाराज हैं। जिनके नेतृत्व में कई कुंभ मेले अखाड़े ने संपन्न कराएं और विगत कुंभ मेला 2021 भी उन्हीं के नेतृत्व में सकुशल संपन्न हुआ। सभी सरकारी कार्यक्रमों एवं हाल ही में काशी विश्वनाथ कॉरिडोर के उद्घाटन का निमंत्रण भी निर्मल अखाड़े को प्राप्त हुआ। जिसमें श्रीमहंत ज्ञानदेव सिंह महाराज ने भी शिरकत की। लेकिन एक अखाड़े का श्रीमहंत भूरी वाले गुट के एक संत को निर्मल अखाड़े के अध्यक्ष के रूप में प्रचारित प्रसारित कर रहा है और लोगों को गुमराह कर रहा है। इस तरह के संत फर्जी संतो को बढ़ावा देते हैं और समाज में विद्वेष फैलाने का कार्य करते हैं। जिसे बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। महंत अमनदीप सिंह महाराज ने कहा कि जल्द ही सच्चाई समाज के समक्ष आ जाएगी और ऐसे सनातन विरोधी कार्य करने वाले असामाजिक तत्व का साथ देने वाले संत भी अपना मुंह समाज को दिखाने लायक नहीं रहेंगे। उन्होंने कहा कि ऐसे संत जो मर्यादा के विरुद्ध जाकर कार्य करते हैं वह खुद अपने गिरेबान में झांक कर देखें। धोखाधड़ी के मामलों में नामजद और अखाड़े की संपत्ति को खुर्द खुर्द करने वाले संत ही सनातन धर्म को नुकसान पहुंचाते हैं और इन्हीं की वजह से ही संत समाज कलंकित होता है। ऐसे भगवा धारियों को सबक सिखाया जाएगा और सनातन विरोधी असामाजिक तत्व जो परिवार से संबंध रखते हैं और हरिद्वार आते ही भगवा चोला धारण कर लेते हैं। उनको भी अखाड़ा परिषद के माध्यम से संत समाज से बहिष्कृत किया जाएगा। श्री पंचायती अखाड़ा निर्मल पहले ही ऐसे लोगों का बहिष्कार कर चुका है जो लोगों को भ्रमित कर स्वयं को तथाकथित भगवाधारी बताते हैं।

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