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सोशल मीडिया पर भ्रामक प्रचार को लेकर महंत निर्मल दास महाराज ने व्यक्त की कड़ी प्रतिक्रिया

अखाड़े को बदनाम करने वालों को कतई बख्शा नहीं जाएगा – महंत निर्मल दास


हरिद्वार। श्री पंचायती अखाड़ा बड़ा उदासीन के मुखिया महंत रघुमुनि महाराज के खिलाफ सोशल मीडिया पर अखाड़े से बर्खास्त महंत बंसीदास महाराज एवं एक पोर्टल संचालक द्वारा भ्रामक प्रचार एवं अनर्गल टिप्पणी को लेकर महंत निर्मल दास महाराज ने कड़ी प्रतिक्रिया व्यक्त की है। प्रैस को जारी बयान में महंत निर्मल दास महाराज ने कहा कि श्री पंचायती अखाड़ा बड़ा उदासीन में चार पंगत के चार महंत हैं एवं 56 से 57 मुकामी महंत वर्तमान समय में है। अखाड़े के इतिहास में आज तक कोई भी संपत्ति गलत अथवा अवैध तरीके से नहीं बेची गई है और ना ही कोई भी संत अखाड़े की पंचायत की भूमि को गलत तरीके से बेच सकता है। बंसीदास महाराज को अखाड़े द्वारा काफी समय पहले सनातन परंपराओं के विरुद्ध कार्य करने के चलते निष्कासित कर दिया गया था। जिसके बाद से ही वह एक वेब पोर्टल संचालक के माध्यम से अखाड़े के खिलाफ भ्रामक प्रचार कर बदनाम करने की साजिश रच रहे हैं। जिसे कभी कामयाब नहीं होने दिया जाएगा। महंत निर्मल दास महाराज ने बताया कि मुखिया महंत रघुमुनि महाराज ने अपने निजी धनराशि से प्लॉट खरीदा था जिसे उन्होंने स्वयं ही हटा दिया और जिसका अखाड़े से किसी भी प्रकार का कोई लेना देना नहीं है। यदि उक्त संपत्ति का अखाड़े से कोई संबंध होता तो अखाड़े में मौजूद 50 से ज्यादा मुकामी महंत एवं चार पंगत के महंत इस विषय को लेकर विरोध दर्ज कराते अथवा अखाड़े में शिकायत करते , लेकिन अखाड़े में सब कुछ सामान्य है और अखाड़ा भली-भांति अपने सेवा प्रकल्प का संचालन कर रहा है। बंसीदास महाराज एक अन्य व्यक्ति के साथ मिलकर मुखिया महंत रघुमुनि महाराज को मानसिक रूप से प्रताड़ित कर रहे हैं और लगातार उन्हें ब्लैकमेल करने की कोशिश कर रहे हैं ताकि वह कुछ गलत कदम उठाने को मजबूर हो। उन्होंने बताया कि श्री पंचायती अखाड़ा बड़ा उदासीन की शाखाएं पूरे भारत में फैली हैं जिसमें हजारों संत महंत एवं महामंडलेश्वर मौजूद हैं। लेकिन मात्र इन्हीं दो व्यक्तियों द्वारा अखाड़े के खिलाफ भ्रामक प्रचार किया जा रहा है जो कि एक गहरी साजिश है क्योंकि बंसीदास महाराज एक आपराधिक प्रवृत्ति के व्यक्ति है। जिनके खिलाफ उत्तर प्रदेश के चित्रकूट में मु.अ.स.-10/19 अंतर्गत धारा 395, 397 व मु.अ.स. -0048/2019 अंतर्गत धारा 147,148,149,307 आई.पी.सी का मुकदमा दर्ज है और वह लगातार अखाड़े के खिलाफ गहरी साजिश रज रहे हैं। जिससे कि अखाड़े के मुखिया महंत को प्रताड़ित किया जा सके संत समाज ऐसे किसी भी मंसूबे को कामयाब नहीं होने देगा। महंत निर्मल दास महाराज ने कहा कि 4 पंगत के अखाड़े में चार महंत एवं सभी मुकामी महंतों के अपने निजी अकाउंट हैं। जिसमें वह दक्षिणा एवं भक्तों से प्राप्त धनराशि को एकत्र कर सकते हैं एवं अपने निजी प्रयोजन के लिए खर्च भी कर सकते हैं।अखाड़े के सभी संत महापुरुष एक हैं और ऐसी किसी भी साजिश को कभी कामयाब नहीं होने देंगे ऐसे असामाजिक तत्वों के खिलाफ शासन-प्रशासन से शिकायत दर्ज करा कर कड़ी से कड़ी कार्रवाई की जाएगी।

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